Bhagwan Mahavir Wildlife Sanctuary In Hindi : भगवान महावीर वन्यजीव अभ्यारण गोवा की राजधानी पणजी और बेलगाम के बीच से होकर जाने वाली सड़क पर स्थित हैं। भगवान महावीर वाइल्डलाइफ सैंक्चुरी एक संरक्षित प्राकृतिक स्थान है जो लगभग 40 वर्ग मील के क्षेत्र में फैला हुआ हैं। अभ्यारण के ग्रीन जोन में पश्चिमी तट, नम पर्णपाती वन, अर्ध सदाबहार वन और उष्णकटिबंधीय सदाबहार वन शामिल हैं। इन्ही वनों में यहां रहने वाले पक्षियों और जानवरों के लिए आवास स्थान हैं। गोवा का प्रसिद्ध दूधसागर झरना भी भगवान महावीर वाइल्डलाइफ सैंक्चुरी के अंदर ही स्थित हैं। यह वन्यजीव अभ्यारण धनगर समुदाय का आवास स्थान हैं और इसमें कदंब वंश के द्वारा बनबाया गया एक आकर्षित मंदिर भी है। यह एक संरक्षित क्षेत्र जिसमे सन्गुम तालुका में मोल्लेम नेशन पार्क भी स्थित हैं, जोकि गोवा के चार संरक्षित वन्यजीव अभ्यारणों में से सबसे बड़ा हैं।
भगवान महावीर वाइल्डलाइफ सैंक्चुरी का गठन पश्चिमी घाट की जैव विविधता की सुरक्षा के लिए गया था। सन 1969 में इसे एक वन्यजीव अभयारण्य का दर्जा प्राप्त हुआ और इसका नाम भगवान महावीर वन्यजीव अभयारण्य रख गया। इस अभ्यारण के लगभग 107 वर्ग किमी के क्षेत्र को सन 1978 में राष्ट्रीय उद्यान घोषित किया गया था। वर्तमान में यह क्षेत्र मोल्लेम नेशनल पार्क के रूप में जाना जाता है।
भगवान महावीर वाइल्डलाइफ सैंक्चुरी घूमने जाने का ख्याल आने पर सबसे पहले पर्यटकों के दिमाग में एक ही बात आती हैं, कि भगवान महावीर उद्यान कहाँ है, तो आइये हम आपको बता दें कि भगवान महावीर उद्यान गोवा की राजधानी पणजी और बेलगाम नामक स्थान के बीच से गुजरने वाले सडक मार्ग पर हैं। भगवान महावीर वन्यजीव अभ्यारण एक खूबसूरत अभ्यारण है जो पर्यटकों को आकर्षित करता हैं और यह भारत के राष्ट्रीय उद्यानों में से एक हैं।
भगवान महावीर वाइल्डलाइफ सैंक्चुरी विभिन्न जाति और प्रजाती के पोधे, पक्षी और जानवरों का आवास स्थान हैं। यह अभ्यारण खानाबदोश भैंस चराने वाले समुदाओं के लिए आवास स्थान भी हैं। जिन्हें धनगर के नाम से पहचाना जाता हैं। भगवान महावीर वाइल्डलाइफ सैंक्चुरी अपनी जैव विविधता के लिए दुनिया भर में प्रसिद्ध हैं। यहां पाए जाने वाले खास जानवरों में जंगली हाथी, गौर, हिरण और तेंदुए की झलक देखी जा सकती हैं। भगवान महावीर वन्यजीव अभ्यारण में कई पैदल यात्रा करने के लिए कई लम्बे-लम्बे मार्ग हैं, जो जंगल की जैव विविधता और खूबसूरती को देखने के लिए उपयुक्त होते हैं। पश्चिमी घाटों की निचली तराई का आकर्षित नजारा देखते ही बनता हैं। जोकि आश्चर्यजनक वॉटरफॉल, अद्वितीय स्थलों और सदाबाहर वनों के दृश से भरा पड़ा हुआ हैं।
भगवान महावीर वाइल्डलाइफ सैंक्चुरी द्वारा अपने अधिकार क्षेत्र में लिया लिया गया एरिया जंगल से काफी घिरा हुआ हैं और यहा पर विभिन्न प्रकार की प्राचीन वनस्पतीयां पायी जाती हैं। उष्णकटिबंधीय सदाबहार वन और पर्णपाती वन इस जंगल के प्रमुख वन हैं। जो यहां की बारहमासी प्रवाहित होने वाली नदियों के किनारों पर पाए जाते हैं। गोवा का राज्य पक्षी रूबी थ्रोट येलो बुलबुल यही पाया जाता हैं इसके अलावा यहां 120 अन्य प्रजातियों के पक्षी भी पाए जाते हैं। यहां पाई जाने वाली वनस्पतियों में सबसे पहली प्रजाति टर्मिनलिया, जिलिया और टिम्बर शामिल हैं। पेंड़ो की घनी आबादी के कारण सूरज की रोशनी कभी कभी जमीन तक नहीं पहुंच पाती हैं। फूल के पोधों की 722 प्रजातीयां यह पाई जाती हैं।
भगवान महावीर वाइल्डलाइफ सैंक्चुरी में हरियाली के अवाला हिरण, सांभर, चित्तीदार हिरण, टोडी बिल्ली, तेंदुए बिल्ली, पैंथर, हॉफ, टाइगर के साथ-साथ कई प्रजातियों के जानवरों का आवास स्थान हैं। यहां के कुछ प्रमुख जीव-जन्तुओ में सुमार बोनट, सियार, गिलहरी के प्रकार, गोल्डन ओरियल, आलसी भालू, लकड़बग्घा, मालाबार ट्रोगन, स्कार्लेट मिन्वेट,एमराल्ड डोव, कॉमन ग्रे हॉर्नबिल, जंगल ओवलेट, एशियन पाम स्विफ्ट और फॉरेस्ट वैगेट भी देखे जा सकते हैं।
भगवान महावीर वन्य जीव अभ्यारण के नजदीक घूमने के लिए बहुत सारे ऐसे स्थान हैं। जहां आप जाकर अपनी भगवान महावीर वाइल्डलाइफ सैंक्चुरी की यात्रा को अधिक यादगार और रोचक बना सकते हैं। जैसे –
दूधसागर वॉटरफॉल भारत में सबसे ऊंचा चार स्तरीय झरना हैं, जोकि पर्यटकों को अपनी और आकर्षित करता हैं। इस झरने को ” सी ऑफ मिल्क” भी कहां जाता हैं। सी ऑफ मिल्क कहने की वजह इस झरना का आकर्षित सफेद पानी हैं, जो पहाड़ी से गिरते समय दूध के जैसा सफेद दिखाई देता हैं। दुधसागर वॉटरफॉल मंडोवी नदी पर स्थित हैं। यह 107 फिट की ऊंचाई से गिरता हैं।
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तम्बाड़ी झरना उत्तरी गोवा में एक विशाल जलप्रपात के रूप में प्रसिद्ध है। लेकिन इसकी गिरावट दुधसागर जलप्रपात की तरह नही हैं। लम्बी पैदल यात्रा के लिए यह झरना जाना जाता हैं। तम्बाड़ी झरना चारों तरफ से घने जंगल से घिरा हुआ हैं। इस झरने की सुन्दरता यहां आने वाले पर्यटकों को मन्त्र मुग्ध कर देती हैं।
डेविल्स कैनियन जिसे ‘देवचराचो कोंड’ के नाम से भी जाना जाता है। जो अभ्यारण में स्थित एक आकर्षित नदी का घाट है और गोवा का एक प्रसिद्ध स्थान है।
ताम्बड़ी सुरला महादेव मंदिर 12वीं शताब्दी का मंदिर है, जो भगवान भोले नाथ को समर्पित है। अभ्यारण के उत्तरी क्षेत्र में स्थित यह छोटा लेकिन प्यारा मंदिर हैं। यह मंदिर अशोकन शैली में कमल की नक्काशी के लिए प्रसिद्ध है।
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भगवान महावीर वाइल्डलाइफ सैंक्चुरी खुलने का समय सुबह 8:00 बजे से शाम के 5:00 तक का होता हैं। तो आप इस समय के दौरान यहां आकर इस पर्यटक स्थल का आनंन्द उठा सकते हैं।
भगवान महावीर वाइल्डलाइफ सैंक्चुरी लगने वाला प्रवेश शुल्क निम्न प्रकार से हैं।
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भगवान महावीर वन्य जीव अभ्यारण की यात्रा के लिए सबसे अच्छा समय नवंबर से लेकर मार्च महीने का माना जाता हैं। हालाकी इस अवधि के दौरान भीडभाड बहुत अधिक देखने को मिलती हैं।
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भगवान महावीर वाइल्डलाइफ सैंक्चुरी घूमने के बाद यदि आप इसके नजदीक रुकना या आराम करना चाहते हैं, तो हम आपको बता दें कि भगवान महावीर वन्य जीव अभ्यारण के नजदीक आपको कई होटल मिल जायेंगे जोकि लो-बजट से लेकर हाई बजट तक उपलब्ध हैं, तो आप अपनी सुविधानुसार होटल ले सकते हैं। यहां के कुछ प्रमुख होटल जैसे –
यदि आप गोवा के पर्यटन स्थल भगवान महावीर वाइल्डलाइफ सैंक्चुरी जा रहे है, तो हम आपको बता दें कि भगवान महावीर वाइल्डलाइफ सैंक्चुरी जाने के लिए आप फ्लाइट, ट्रेन, बस और अपने निजी साधन के माध्यम से गोवा के भगवान महावीर वाइल्डलाइफ सैंक्चुरी तक आसानी से पहुंच जायेंगे।
यदि आपने भगवान महावीर वाइल्डलाइफ सैंक्चुरी जाने के लिए हवाई मार्ग का चुनाव किया है, तो हम आपको बता दें कि गोवा शहर का डाबोलिम एयरपोर्ट या गोवा एयरपोर्ट भगवान महावीर वाइल्डलाइफ सैंक्चुरी के सबसे नजदीक हैं। एयरपोर्ट से भगवान महावीर वाइल्डलाइफ सैंक्चुरी की दूरी लगभग 68 किलोमीटर हैं। एयरपोर्ट से आप यहां चलने वाले स्थानीय साधनों के माध्यम से भगवान महावीर वाइल्डलाइफ सैंक्चुरी पहुंच जायेंगे।
ट्रेन के माध्यम से गोवा के भगवान महावीर वाइल्डलाइफ सैंक्चुरी जाने के लिए सबसे नजदीकी रेल्वे स्टेशन थिविम (Thivim) हैं। रेल्वे स्टेशन से भगवान महावीर वाइल्डलाइफ सैंक्चुरी की दूरी लगभग 67 किलोमीटर हैं।
यदि आपने भगवान महावीर वाइल्डलाइफ सैंक्चुरी जाने के लिए सड़क मार्ग का चुनाव किया है, तो हम आपको बात दें भगवान महावीर वाइल्डलाइफ सैंक्चुरी के नजदीक कोई बस स्टैंड नही हैं। लेकिन भगवान महावीर वाइल्डलाइफ सैंक्चुरी से लगभग 66 किलोमीटर की दूरी पर पणजी का बस स्टैंड हैं। पणजी बस स्टैंड से आप यहां चलने वाले स्थानीय साधनों के माध्यम से भगवान महावीर वाइल्डलाइफ सैंक्चुरी पहुंच जायेंगे।
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इस आर्टिकल में आपने महावीर वाइल्डलाइफ सैंक्चुरी या महावीर वन्यजीव अभयारण्य से जुडी सभी महत्वपूर्ण जानकारी को जाना है आपको यह आर्टिकल केसा लगा हमे कमेंट्स में जरूर बतायें।
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