Laxminath Temple Jaisalmer In Hindi : जैसलमेर किले के अंदर स्थित लक्ष्मीनाथ मंदिर जैसलमेर के सबसे पुराने व लोकप्रिय मंदिरों में से एक है जो हिंदू देवता भगवान विष्णु और देवी लक्ष्मी को समर्पित है। कहा जाता है कि यहां की मूर्तियां पूरे देश में सबसे खूबसूरत मूर्तियों में से हैं जो जैसलमेर में एक प्रमुख आस्था केंद्र बना हुआ है। लक्ष्मीनाथ मंदिर में मुख्य देवताओं के अलावा, अन्य देवताओं की पेंटिंग और मूर्तियों को भी देखा जाता है। इस मंदिर में एक साधारण वास्तुकला को बड़ी सुन्दरता से अलंकृत किया गया है जिसमे मंदिर के दरवाजे में चांदी की रूपरेखा प्रस्तुत की गई है। लक्ष्मीनाथ मंदिर में दीवाली, जन्माष्टमी, निर्जला एकादशी, गीता जयंती और रामनवमी को बड़ी धूमधाम और उत्साह के साथ मनाया जाता हैं। जो इसे पर्यटकों और तीर्केथ यात्रियों के घूमने के लिए जैसेलमेर की सबसे आकर्षक जगहों में से एक बनाती है।
यदि आप भी लक्ष्मीनाथ मंदिर की यात्रा की योजना बना रहे है या फिर इस मंदिर के बारे में वितार से जानने के लिए उत्साहित है तो हमारे इस लेख को पूरा जरूर पढ़े –
लक्ष्मीनाथ मंदिर का इतिहास कई सौ साल पुराना माना जाता है लक्ष्मीनाथ मंदिर का निर्माण सन 1494 में राव लूणकरन के शासन के दौरान किया गया था जो जैसलमेर किले के अन्दर स्थित है। ऐसा माना जाता है कि मंदिर में मूर्तियों को क्षेत्र के एक विद्वान ब्राह्मण सेन पाल शाकद्वीपी ने स्थापित किया था। यह भी कहा जाता है कि मंदिर के खंभों को लोधरुवा गांव से यहां लाया गया था।
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जैसलमेर का प्राचीन मंदिर में एक साधारण वास्तुकला को बड़ी सुन्दरता से अलंकृत किया गया है जिसमे मंदिर के दरवाजे में चांदी की रूपरेखा प्रस्तुत की गई है। लक्ष्मीनाथ मंदिर में मुख्य देवताओं के अलावा, अन्य देवताओं की पेंटिंग और मूर्तियों को भी देखा जाता है। यह मूर्तियाँ सुंदर कलाकृति के लिए प्रसिद्ध है जो यहाँ के अंदरूनी हिस्सों को समृद्ध बनाती है।
लक्ष्मीनाथ मंदिर भक्तो के प्रवेश के लिए बिलकुल निशुल्क है यहाँ पर्यटकों को माता के दर्शन के लिए किसी भी प्रकार के शुल्क का भुगतान नही करना पड़ता है ।
अगर आप जैसलमेर में लक्ष्मीनाथ मंदिर घूमने की योजना बना रहे है तो आपको बता दे की लक्ष्मी नाथ मंदिर पर्यटकों के लिए प्रतिदिन सुबह 5.00 बजे से दोपहर 1.00 बजे तक और शाम 5.00 बजे से 11.00 तक खुला रहता है।
अगर आप जैसलमेर में लक्ष्मीनाथ मंदिर जाने का प्लान बना रहे है तो हम आपको बता दे कि सर्दियों का मौसम (अक्टूबर से मार्च) लक्ष्मीनाथ मंदिर जैसलमेर जाने के लिए सबसे अच्छा समय होता है। जहा शुरुआती सुबह और शामें विशेष रूप से अच्छी होती हैं यहाँ गर्मियों के मौसम में आने से बचें, क्योंकि कठोर धूप और गर्मी आपको जैसलमेर जाने से हतोत्साहित कर सकती हैं।
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अगर आप जैसलमेर में लक्ष्मीनाथ मंदिर घूमने के लिए जा रहे है तो हम आपको बता दे कि यहाँ जैसलमेर में लक्ष्मीनाथ मंदिर के अलवा भी आप किले, महल, मंदिर व अन्य प्रसिद्ध पर्यटक स्थल घूमने जा सकते हैं। जिनके बारे हम यहाँ आपको बताने जा रहे है-
जैसलमेर सदियों पुरानी संस्कृति और परंपरा वाला एक रेगिस्तानी स्थान है। राजस्थान के अन्य स्थानों की तुलना में जैसलमेर का भोजन अद्वितीय है। जैसलमेर के व्यंजन उनकी संस्कृति में समृद्धता और रेगिस्तान में उनकी निकटता को दर्शाते हैं। आप यहाँ आसानी से भरपूर पौष्टिक भोजन पा सकते हैं। राजस्थान के अन्य भागों के विपरीत, जैसलमेर में तेल और मक्खन में लिपटा हुआ खाना यहां ज्यादा मिलता है। यहां के पारंपरिक भोजन में दाल बाटी चूरमा, मुर्ग-ए- सब्ज, पंचधारी लड्डू, मसाला रायता, पोहा, जलेबी, घोटुआ, कड़ी पकौडा शामिल हैं। अगर यहां आपको स्नैक्स खाने का मन है तो हनुमान चॉक सबसे बेहतर जगह है, वहीं अगर आप डेजर्ट आइटम्स का स्वाद लेना चाहते हैं तो अमर सागर पोल से बेहतर जगह और कोई नहीं है। यहां आपको डेजर्ट से जुड़े सभी फूड आइटम्स मिल जाएंगे।
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अगर आप राजस्थान के जैसलमेर में लक्ष्मीनाथ मंदिर घूमने जाने का प्लान बना रहे है तो आप हवाई, ट्रेन और सड़क मार्ग में से किसी से भी यात्रा करके लक्ष्मीनाथ मंदिर पहुच सकते हैं।
अगर आप फ्लाइट से लक्ष्मीनाथ मंदिर की यात्रा करने का प्लान बना रहे तो बता दे कि जोधपुर हवाई अड्डा जैसलमेर का निकटतम घरेलू हवाई अड्डा है जो कि पूरे वर्ष कार्यात्मक है। दिल्ली, मुंबई, चेन्नई, कोलकाता और उदयपुर जैसे प्रमुख शहरों से जोधपुर के लिए नियमित उड़ानें हैं। आपको पहले जोधपुर हवाई अड्डा पहुचना होगा जो जैसलमेर शहर से लगभग 5 से 6 घंटे की ड्राइव पर है। और फिर जैसलमेर पहुचने के बाद आप टैक्सी या कैब से लक्ष्मीनाथ मंदिर पहुच सकते है।
अगर आप ट्रेन से लक्ष्मीनाथ मंदिर जाना चाहते है तो हम आपको बता दे इसका सबसे निकटम रेलवे स्टेशन जैसलमेर रेलवे स्टेशन है। जो प्रमुख शहरो से रेल मार्ग के माध्यम से जुड़ा हुआ है आप ट्रेन से यात्रा करके जैसलमेर रेलवे स्टेशन पहुच सकते है और वहा से आप टैक्सी या कैब से लक्ष्मीनाथ मंदिर पहुच सकते हैंl
जैसलमेर राजस्थान के सभी प्रमुख शहरो से सड़क मार्ग से जुड़ा हुआ है। जैसलमेर रोडवेज के सुव्यवस्थित नेटवर्क द्वारा शेष भारत की सेवा करता है। राजस्थान रोडवेज के डीलक्स और साधारण बसें और साथ ही कई निजी बसें जैसलमेर को जोधपुर, जयपुर, बीकानेर, बाड़मेर, माउंट आबू, अहमदाबाद आदि से जोड़ती हैं। तो आप यहाँ बस टैक्सी या अपनी निजी कार से यात्रा करके लक्ष्मीनाथ मंदिर पहुच सकते है।
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इस आर्टिकल में आपने जैसलमेर के प्रसिद्ध लक्ष्मीनाथ मंदिर के दर्शन के बारे में जाना है आपको हमारा यह लेख केसा लगा हमे कमेंट करके जरूर बतायें।
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