छत्तीसगढ़ के धार्मिक स्थलों के नाम और उनसे जुड़ी पूरी जानकारी – List of Temples in Chhattisgarh in Hindi

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Famous temples of Chhattisgarh in Hindi : छत्तीसगढ़ भारत के सबसे आकर्षक पर्यटक स्थल में से है, जिसे अपना नाम राज्य में स्थित 36 प्राचीन किलो से प्राप्त हुआ है। भारत के सबसे विकासशील राज्यों में से एक होने के बाबजूद भी छत्तीसगढ़ धार्मिक स्थल, सांस्कृतिक विरासत और प्राकृतिक विविधता से संपन्न है, जो अपने प्राचीन स्मारकों, किलो, दुर्लभ वन्यजीवों, जल प्रपातो के साथ साथ मंदिरों और धार्मिक स्थल के लिए भी फेमस है।

छत्तीसगढ़ के प्राचीन मंदिर न केवल एक तीर्थस्थल है, बल्कि एक योग्य पर्यटक आकर्षण है, जो अपने इतिहास और वास्तुकला के लिए देश विदेश के पर्यटकों के लिए आकर्षण का केंद्र बने हुए है। यदि आप अपनी यात्रा के लिये छत्तीसगढ़ के प्रसिद्ध मंदिर और धार्मिक स्थलों को सर्च कर रहे है, तो इसके लिए आप इस आर्टिकल को पूरा पढ़े, जिसमे आप छत्तीसगढ़ के धार्मिक स्थलों के नाम और उनकी यात्रा से जुड़ी पूरी इन्फोर्मेशन को डिटेल में जान सकेगें-

छत्तीसगढ़ के प्रमुख मंदिर – Famous Temples of Chhattisgarh in Hindi

बम्लेश्वरी देवी मंदिर डोंगरगढ़ – Bamleshwari Devi Temple Dongargarh in Hindi

बम्लेश्वरी देवी मंदिर डोंगरगढ़ - Bamleshwari Devi Temple Dongargarh in Hindi
Image Credit : Sagar Agrawal

“बम्लेश्वरी देवी मंदिर” छत्तीसगढ़ के राजनांदगांव जिले के डोंगरगढ़ में स्थित है। 1600 फीट की पहाड़ी पर स्थित बम्लेश्वरी देवी मंदिर छत्तीसगढ़ के प्रसिद्ध मंदिर में से एक है, जिसे छत्तीसगढ़ में सबसे अधिक देखा जाने वाला मंदिर भी माना जाता है। बता दे बम्लेश्वरी देवी मंदिर ने बाडी बंबलेश्वरी मंदिर के रूप में भी काफी ख्याति प्राप्त की है, जो स्थानीय लोगो के साथ साथ देश भर के श्रद्धालुयों के लिए भी आस्था का केंद्र बना हुआ है।

बम्लेश्वरी देवी मंदिर के समीप लगभग 1.5 किमी की दूरी पर स्थित एक और लोकप्रिय मंदिर है, जिसे छोटा बम्लेश्वरी के नाम से जाना जाता है। ये दोनों मंदिर छत्तीसगढ़ के प्रमुख तीर्थ स्थल में महत्वपूर्ण योगदान प्रदान करते है, जहाँ प्रतिदिन के साथ साथ नवरात्रि, दशहरा और रामनवमी जैसे प्रमुख त्यौहारों के दौरान भारी संख्या में भक्त यहाँ आते है। नवरात्र के दौरान मंदिर में एक ज्योति कलश को भी जलाया जाता है, जिसे काफी पवित्र माना जाता है।

महामाया मंदिर बिलासपुर – Mahamaya Temple, Bilaspur in Hindi

महामाया मंदिर बिलासपुर - Mahamaya Temple, Bilaspur in Hindi
Image Credit : Debasish Das Roy

बिलासपुर जिले के रतनपुर में स्थित “महामाया मंदिर” भारत में स्थापित 52 शक्ति पीठो से एक है। महामाया मंदिर सरस्वती और लक्ष्मी जी को समर्पित है जो 12 वीं शताब्दी से अस्तित्व में आया है, जिसे कलचुरियों के शासनकाल के दौरान बनाया गया था। माना जाता है यह मंदिर उस स्थान पर स्थित है, जहां राजा रत्नदेव ने देवी काली का दर्शन किया था। मंदिर में स्थापित गोड्डे महामाया को कोसलेश्वरी के नाम से भी जाना जाता है, जो श्रद्धालुयों और पर्यटकों के घूमने के लिए छत्तीसगढ़ के सबसे प्रमुख प्राचीन मंदिर में से एक माना जाता है।

यदि आप अपनी यात्रा के लिए छत्तीसगढ़ के प्रमुख धार्मिक स्थल को सर्च कर रहे है, तो आपको महामाया मंदिर में देवी सरस्वती और लक्ष्मी जी के दर्शन और आश्रीबाद प्राप्त करने के लिए अवश्य जाना चाहिये।

दंतेश्वरी मंदिर दंतेवाडा – Danteshwari Temple, Dantewada in Hindi

दंतेश्वरी मंदिर दंतेवाडा – Danteshwari Temple, Dantewada in Hindi
Image Credit : Nitin Verma

देवी दंतेश्वरी को समर्पित “दंतेश्वरी मंदिर” जगदलपुर तहसील से लगभग 80 किमी दूर दंतेवाड़ा शहर में स्थित है। दंतेश्वरी मंदिर भी भारत में स्थापित 52 शक्ति मंदिरों में से एक है, माना जाता है यह मंदिर उस स्थान पर निर्मित है जहाँ देवी सती का दांत गिरा था।

छत्तीसगढ़ के प्रसिद्ध मंदिर (Famous temples of Chhattisgarh in Hindi) में से एक दंतेश्वरी मंदिर का निर्माण 14 वीं शताब्दी के मध्य में दक्षिण के चालुक्यों द्वारा किया गया था। देवी दंतेश्वरी प्रतिदिन बड़ी संख्या में श्रद्धालुयों को आकर्षित करती है, जबकि भक्तो की यह संख्या नवरात्रि जैसे प्रमुख त्यौहारों के दौरान हजारों में हो जाती है, जबकि इस दौरान आसपास के जंगलों और गांवों के हजारों आदिवासी लोग भी देवी के सम्मान के लिए मंदिर आते हैं।

यदि आप छत्तीसगढ़ के प्रमुख तीर्थ स्थल की यात्रा पर जाने वाले है, तो आपको अपनी यात्रा में दंतेश्वरी मंदिर भी अवश्य जाना चाहिये।

और पढ़े : भारत के प्रसिद्ध दुर्गा मंदिर जहाँ जाने से होती है, भक्तो की सभी मनोकामनायें पूर्ण 

चंद्रहासिनी देवी मंदिर जांजगीर  – Chandrahasini Devi Temple, Janjgir in Hindi

चंद्रहासिनी देवी मंदिर जांजगीर  – Chandrahasini Devi Temple, Janjgir in Hindi
Image Credit : Kamlesh Maitry

जांजगीर जिले में महानदी नदी के तट पर स्थित “चंद्रहासिनी देवी मंदिर”  छत्तीसगढ़ के प्रमुख तीर्थ स्थल में एक है। देवी मां चंद्रहासिनी को समर्पित मंदिर, देवी दुर्गा के 52 शक्तिपीठो का एक और प्रसिद्ध पीठ है। मंदिर में स्थापित मां चंद्रहासिनी का मुख चन्द्रमा की आकृति जैसा है, इसी कारण चंद्रहासिनी देवी को माँ चंद्रसेनी के नाम से भी जाना जाता है। छत्तीसगढ़ के प्रमुख मंदिर सर्च करने वाले श्रद्धालुओं को चंद्रहासिनी देवी मंदिर की यात्रा अवश्य करना चाहिये।

यहां आयोजित होने वाले दैनिक अनुष्ठानों के अलावा, चंद्रहासिनी देवी मंदिर विशेष रूप से नवरात्रि के दिनों में यहां होने वाली पूजा के लिए जाना जाता है जिस दौरान श्रद्धालुयों की विशाल भीड़ देखी जाती है। इस मंदिर के बारे में श्रद्धालु का विश्वास है, की यहाँ जो भी भक्त सच्चे मन से प्राथना करते है, माँ उनकी सभी मनोकामनायें पूर्ण करती है।

बंजारी माता मंदिर राजगढ़ – Banjari Mata Mandir, Raigarh in Hindi

बंजारी माता मंदिर राजगढ़ - Banjari Mata Mandir, Raigarh in Hindi
Image Credit : Sanjay Patel

रायगढ़ से लगभग 20 किलोमीटर की दूरी पर स्थित “बंजारी माता मंदिर ” रायगढ़ शहर और छत्तीसगढ़ के लोकप्रिय मंदिर में से एक है। यह छत्तीसगढ़ राज्य का एक पवित्र मंदिर है जो देवी बंजारी माता को समर्पित है। आप इस मंदिर को राज्य राजमार्ग के माध्यम से रायगढ़ से अंबिकापुर की ओर जाने वाले मार्ग पर देख सकते हैं। मंदिर का एक अन्य आकर्षण इसका तालाब है, बता दे मंदिर के तालाब को ऐसा बनाया गया है, जो उपर से देखने में भारत के नक़्शे की तरह दिखता है जो पर्यटकों का काफी आकर्षित भी करता है।

यदि आप अपनी फैमली या फ्रेंड्स के साथ छत्तीसगढ़ के प्रमुख धार्मिक स्थल (Famous temples of Chhattisgarh in Hindi) घूमने जाने का प्लान बना रहे है, तो आपको अपनी यात्रा में बंजारी माता मंदिर घूमने जरूर जाना चाहिये। जहाँ आप बंजारी माता का आश्रीबाद प्राप्त करने के साथ साथ तालाब की सुंदर और अद्भुद कारीगिरी देख सकते है।

जतमई घटरानी मंदिर रायपुर –  Jatmai Ghatarani, Raipur in Hindi

जतमई घटरानी मंदिर -  Jatmai Ghatarani, Raipur in Hindi
Image Credit : Vijay Dhakad

“जटमई घाटारानी मंदिर ” छत्तीसगढ़ के दक्षिण पूर्व में रायपुर से लगभग 85 किमी दूर स्थित है। जतमई और घाटारानी दोनों अलग अलग स्थान है जो झरने के आसपास स्थित है। छत्तीसगढ़ के प्रसिद्ध मंदिर में से एक जटमई घाटारानी मंदिर किसी स्वर्ग से कम नहीं है, जो श्र्धालुयों के साथ साथ पर्यटकों को भी काफी आकर्षित करता है।

जतमई घटारानी एक ऐसी जगह है, जहाँ आप अपनी फैमली या दोस्तों के साथ मंदिर के दर्शन के साथ साथ झरने में मस्ती कर सकते है और प्राकृतिक सोंदर्य के मध्य समय व्यतीत कर सकते है। वैसे तो यह मंदिर पूरे बर्ष खुला रहता है, लेकिन यदि आप झरने की सुंदरता का आनंद लेना चाहते हैं, आपको मानसून के दौरान इस मंदिर की यात्रा करनी चाहिये।

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शिवानी माँ मंदिर, कांकेर – Shivani Maa Temple, Kanker in Hindi

“शिवानी माँ मंदिर” छत्तीसगढ़ के सबसे पुराने मंदिर (Oldest Temples of Chhattisgarh in Hindi) में से एक है, जो देवी दुर्गा और काली को समर्पित है। मंदिर का आधा खंड देवी काली को समर्पित है जबकि शेष आधा हिस्सा देवी दुर्गा को समर्पित है। शिवानी माँ मंदिर को शिवानी मंदिर के नाम से भी जाना जाता है, जो श्र्धालुयों के लिए छत्तीसगढ़ के प्रमुख तीर्थ स्थल के रूप में कार्य करता है।

बता दे शिवानी माँ मंदिर की तरह पूरी दुनिया में सिर्फ दो मंदिर है, जिसमे से एक कांकेर में है, और दूसरा कोलकाता में स्थित है। मंदिर ने अपनी इसी विशेषता के कारण पूरे देश में काफी प्रसिद्धी हाशिल की है इसी बजह से हर साल कई हजारों श्रद्धालु और पर्यटक देवी दुर्गा और काली का आश्रीबाद लेने तथा इस सुंदर संरचना से रूबरू होने के लिए यहाँ आते है।

पाताल भैरवी मंदिर राजनांदगांव – Patal Bhairavi Temple Rajnandgaon in Hindi

पाताल भैरवी मंदिर राजनांदगांव – Patal Bhairavi Temple Rajnandgaon in Hindi
Image Credit : Kamlesh Sahu

छत्तीसगढ़ के प्रसिद्ध मंदिर की लिस्ट में शामिल “पाताल भैरवी मंदिर” राजनांदगांव में जी ई रोड़ पर स्थित है। बता दे पाताल भैरवी मंदिर को बरफानी आश्रम के नाम से भी जाना जाता है। मंदिर के अन्दर माँ पाताल भैरवी की मूर्ति स्थापित है जबकि मंदिर के शीर्ष पर एक बड़ा शिव लिंग बना हुआ है, जिसके सामने एक विशाल नंदी प्रतिमा भी है। पाताल भैरवी मंदिर तीन स्तरों पर फैला हुआ है जिसके उपरी स्तर पर भगवान शिव का मंदिर है, नीचे का स्तर त्रिपुर सुंदरी या नवदुर्गा तीर्थ है जबकि आखरी का स्तर पाताल भैरवी तीर्थ है।

यदि आप छत्तीसगढ़ के प्रमुख धार्मिक स्थल (Famous temples of Chhattisgarh in Hindi) की यात्रा पर जाने वाले है, तो आपको अपनी यात्रा में पाताल भैरवी मंदिर मंदिर भी घूमने अवश्य जाना चाहिये, क्योंकि पाताल भैरवी मंदिर एक ऐसा मंदिर है, जिसकी यात्रा में आप पाताल भैरवी के साथ साथ भगवान शिव और माता त्रिपुरी के दर्शन भी कर सकते है।

भोरमदेव मंदिर चौरागाँव – Bhoramdev Temple Chauragaon in Hindi

भोरमदेव मंदिर चौरागाँव – Bhoramdev Temple Chauragaon in Hindi
Image Credit : Ayush Shukla

छत्तीसगढ़ के कबीरधाम जिले के चौरागाँव में स्थित “भोरमदेव मंदिर” छत्तीसगढ़ के प्राचीन मंदिर(Oldest Temples of Chhattisgarh in Hindi) में से एक है, जिसे लगभग 1000 बर्ष पुराना माना जाता है। भोरमदेव मंदिर भगवान शिव को समर्पित है, जिसका निर्माण 1089 ई. में फनीनागवंशी शासक गोपाल देव द्वारा करबाया गया था।

इस मंदिर की सरंचना कोणार्क मंदिर और खुजराहो से मिलती जुलती है, जिस कारण भोरमदेव मंदिर को छत्तीसगढ़ का खुजराहो भी कहा जाता है।

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हटकेश्वर मंदिर रायपुर – Hatkeshwar Temple Raipur In Hindi

हटकेश्वर मंदिर रायपुर – Hatkeshwar Temple Raipur In Hindi
Image Credit : Shyamal Maity

रायपुर से लगभग 5 किमी की दूरी पर स्थित “हटकेश्वर मंदिर” छत्तीसगढ़ के प्रमुख मंदिर में से एक है, जिसका निर्माण नजीराज नाइक ने वर्ष 1402 में किया था। जो भी पर्यटक और श्रद्धालु  छत्तीसगढ़ के प्रमुख तीर्थ स्थल की यात्रा पर जाने वाले है, उन्हें हटकेश्वर  मंदिर की यात्रा अवश्य करनी चाहिये। हटकेश्वर मंदिर भगवान शिव को समर्पित ,जिस कारण इसे हटकेश्वर महादेव मंदिर के नाम से भी जाना जाता है।

हटकेश्वर मंदिर में मुख्य देवता शिव जी का एक शिव लिंग स्थापित है, जिसके बारे में माना जाता है की यह शिव लिंग स्वयं उभरा था। दूसरी ओर, मंदिर के बाहरी हिस्से को 9 ग्रहों, रीजेंट देवता, संगीतकारों, महाभारत और रामायण के दृश्यों, नृत्य, अप्सराओं, पुष्प आकृति और बहुत कुछ के साथ सजाया गया है जो श्र्धालुयों के साथ साथ कला प्रेमियों के लिए भी आकर्षण का केंद्र बना हुआ है।

केवालया धाम रायपुर – Kevalya Dham Raipur In Hindi

केवालया धाम रायपुर - Kevalya Dham Raipur In Hindi
Image Credit : Abhishek P

छत्तीसगढ़ के प्रसिद्ध मंदिर में से एक “केवालया धाम” एक प्रमुख जैन मंदिर है, जो जैन श्र्धालुयों के लिए प्रमुख पूजा स्थल के रूप में कार्य करता है। केवालया धाम मंदिर परिसर में कुल 26 छोटे और बड़े मंदिर हैं और इन मंदिरों में 24 तीर्थंकरों की मूर्तियाँ स्थापित हैं।

केवालया धाम मंदिर सफेद संगमरमर से बना हुआ है, जिसकी वास्तुकला भी पर्यटकों के लिए अट्रेक्शन का केंद्र बनी हुई है। इसी कारण जैन श्रद्धालुयों के साथ साथ देश विदेश से पर्यटक भी यहाँ आते है।

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इस आर्टिकल में आपने, छत्तीसगढ़ के प्राचीन मंदिर, छत्तीसगढ़ के धार्मिक स्थलों के नाम और उनकी यात्रा से जुड़ी पूरी इन्फोर्मेशन को डिटेल में जाना है आपको हमारा ये लेख केसा लगा हमे कमेंट्स में जरूर बतायें।

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