Tourist Places In Pali Tourism In Hindi : पाली जोधपुर से 70 किलोमीटर की दूरी पर स्थित एक प्रमुख औद्योगिक क्षेत्र है जो काफी समय से व्यापारिक गतिविधियों का एक प्रमुख केंद्र रहा है। यह शहर राजस्थान के इतिहास के बारे में जानने और ऐतिहासिक पर्यटन स्थलों को घूमने की एक बहुत अच्छी जगह है। आपको बता दें यह शहर अपने आस-पास के कई मंदिरों और संस्कृति के लिए बेहद प्रसिद्ध है। यहां के खूबसूरत सोमनाथ मंदिर, आदिश्वर मंदिर और रणकपुर जैन मंदिर भारी संख्या में पर्यटकों को अपनी तरफ आकर्षित करते हैं।
इसके अलावा पाली में एक ओम बन्ना मंदिर जिसको बुलेट बाबा मंदिर भी कहते हैं, ऐसा अनोखा मंदिर जो दुनिया में और कहीं नहीं है। अगर आप इसके अलावा पाली के बारे में अन्य जानकरी चाहते हैं तो इस लेख को जरुर पढ़ें हम आपको यहाँ आपको पाली के इतिहास और इसके आसपास घूमने की जगह की बारे में बताने जा रहें हैं –
बता दें कि पाली शहर को अपना नाम पालीवाल ब्राह्मणों से मिला है जिन्होंने मंडोर के प्रमुख से जमीन लीज पर ली थी। तब इसे पल्ली या पल्लिका के रूप में जाना जाता था और 11 वीं शताब्दी के बाद से जब मेवाड़ के गुहिलों ने शहर पर शासन किया था तब यह इस क्षेत्र का एक महत्वपूर्ण व्यापार केंद्र,बन गया था। एक सदी बाद चौहानों ने पाली में शासन किया और इसे नाडोल साम्राज्य का हिस्सा बनाया। इस शताब्दी में चालुक्य वंश और बाद में जालोर शहर के सोंगिरा चौहान वंश ने यहां शासन किया।
बात दें कि 13 वीं शताब्दी ई. में एक देवली का जन्म हुआ है, जिसमें चंद्रा के पोते, शोजी राठौर का उल्लेख है, उन्होंने तीर्थ यात्रा के लिए शहर का दौरा किया और ब्राह्मणों की रक्षा के लिए यहां रहने का फैसला कर लिया। राठौरों ने 1760 ई तक पाली पर शासन किया जिसके बाद यह जोधपुर राज्य का एक अहम हिस्सा बन गया। 1949 तक यह शहर मारवाड़ साम्राज्य का एक प्रमुख हिस्सा रहा है।
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पाली राजस्थान का एक ऐसा क्षेत्र है जहां पर घूमने के लिए बहुत कुछ है अगर आप पाली घूमने की योजना बना रहें हैं और इसके पास स्थित पर्यटन स्थलों की सैर करना चाहते हैं तो नीचे हम पाली शहर के पर्यटन स्थलों की जानकारी दे रहे हैं, जहां आपको अपनी यात्रा के दौरान जरुर जाना चाहिए।
लखोटिया गार्डन पाली का एक प्रमुख पर्यटन स्थल है। आपको बता दें कि यह गार्डन लाखोटिया तालाब से घिरा हुआ है और इसी की वजह से इसे अपना नाम मिला है। लखोटिया गार्डन एक बहुत विशाल उद्यान है जिसमें बैठे की लिए बहुत सारी साफ और हरी भरी जगह भी है। दिन के समय काफी लोग इस खूबसूरत गार्डन को देखने के लिए आते हैं।
बात दें कि इस गार्डन का प्रमुख आकर्षण यहां केंद्र में स्थित शिव मंदिर है जो पर्यटकों को बेहद आकर्षित करता है। यह सुंदर मंदिर नीलकंठ को समर्पित है और पर्यटकों को बेहद रोमांचित करता है। लखोटिया गार्डन पाली की एक ऐसी जगह है जिसे आपको अपनी लिस्ट में जरुर शामिल करना चाहिए।
परशुराम महादेव मंदिर पाली का एक प्रमुख मंदिर है जो भगवान विष्णु के छठे अवतार- भगवान परशुराम को समर्पित है। आपको बता दें कि यह मंदिर पाली के पास अरावली पर्वत श्रृंखलाओं के बीच स्थित है जिसके बारे में यह कहा जाता हा कि यहां पर आक्रामक कुल्हाड़ी चलाने वाले परशुराम ने ध्यान किया था। अगर आप इस मंदिर की यात्रा करना चाहते हैं तो बता दें कि यह मंदिर एक सुदूर स्थान पर स्थित है और यहां पहुंचने के लिए काफी पैदल चलना पड़ता है लेकिन फ़िक्र करने की जरूरत नहीं क्योंकि इस मंदिर की यात्रा करना बेहद आकर्षक है। आप यहां पैदल यात्रा के दौरान कई पानी से भरे कुंड और पहाड़ पर फैली वनस्पतियों को देख सकते हैं। परशुराम महादेव मंदिर की यात्रा ट्रेकिंग प्रेमियों के लिए एक बहुत अच्छी जगह है।
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पाली में एक साफ सुथरा छोटा संग्रहालय, जिसमें आप तांबे के सिक्के, पेंटिंग, आर्मरेस्ट और जनजातीय हस्तशिल्प के अदभुद संग्रह को देख सकते हैं। आपको बता दें कि इस संग्रहालय में कई उपकरण है जो पुरापाषाण काल के हैं। इसके अलावा बांगुर संग्रहालय में चित्रकला और हथियारों का सबसे शानदार संग्रह हैं, जो राजस्थान की संस्कृति का वर्णन करते हैं। तुगलक, खिलजी और शासकों से संबंधित यहां पर कई सिक्के रखे हुए हैं। यह संग्रहालय पारंपरिक कला और शिल्प को भी बर्तनों से लेकर गहनों तक प्रदर्शित करता है जो स्थानीय और क्षेत्रीय संस्कृति के बारे में बताते हैं। इस संग्रहालय की एक यात्रा आपके लिए यादगार साबित होगी और आपको राजस्थान राज्य के बारे में और अधिक जागरूक करेगी।
जवाई बांध जवाई नदी पर बना है प्रमुख बांध है जो लगभग 70 साल पुराना है और राजस्थान में सबसे बड़ा बांध है। आपको बता दें कि यह बांध यहां के आस-पास के गाँव के लिए जीवन रेखा के रूप में काम करता है। यह बांध दिखने में बेहद सुंदर और आकर्षक है। अगर आप पाली घूमने के लिए जा रहें हैं तो आपको इस बांध की सैर जरुर करना चाहिए। जवाई बांध ठंड से बचने के लिए दुनिया के विभिन्न हिस्सों से सर्दियों के दौरान आने वाले प्रवासी पक्षियों के प्रवास का एक प्रमुख स्थान है। क्रेन और गीज़ आम प्रवासी पक्षी हैं जिन्हें इस बांध के पास अक्सर देखा जा सकता है। इसके अलावा आप भालू और हाइना को बांध पर पानी पीते देख सकते हैं।
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ओम बन्ना मंदिर पाली का एक प्रमुख मंदिर है जो दुनिया के बाकी मंदिरों से बिलकुल अलग है। पाली के इस मंदिर को बुलेट बाबा मंदिर के नाम से भी जाना जाता है। आपको बता दें कि ओम बन्ना मंदिर का अपना एक अलग खास महत्व है। जब आप इस मंदिर में प्रवेश करेंगे तो आपको यहां पर किसी देवी या देवता की मूर्ति नहीं बल्कि कांच के अंदर एक रॉयल एनफील्ड बाइक दिखेगी और यहां के व्यक्ति की फोटो भी दिखेगी। आपको यह तस्वीर और किसी की नहीं बल्कि खुद ओम बन्ना की है। ऐसा कहा जाता है कि यहां पाली हाईवे पर ओम बन्ना की आत्मा दुर्घटनाओं से लोगों की रक्षा करती इसलिए लोग उनकी पूजा करते हैं और उन्हें फूलों की माला भी चढ़ाते हैं। अगर आप पाली की यात्रा करने जा रहें हैं तो आपको एक बार ओम बन्ना के मंदिर जरुर जाना चाहिए।
पाली को अपने आकर्षक मंदिरों के लिए भी जाना जाता है जिनमें कई एक से बढ़कर एक मंदिर शामिल हैं। बता दें यहां पर्यटक हिंगलाज माँ मंदिर, श्री नवलखा पार्श्वनाथ जैन मंदिर, जैन मंदिर, देवगिरी मंदिर, रामेश्वर महादेव मंदिर, सोमनाथ मंदिर, साईं बाबा मंदिर, करणी माता मंदिर, बंगोर मंदिर, इलोजी मंदिर, महालक्ष्मी मंदिर की यात्रा कर सकते हैं। इन सभी मंदिरों के अलावा पाली में गीता भवन, बजरंग बाग, हवास बांध जैसे पर्यटन स्थल भी हैं।
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आप अक्टूबर से मार्च के बीच कभी भी पाली घूमने जा सकते हैं। इस दौरान यहां का मौसम सुखद होने के साथ आरामदेह भी रहता है।
पाली जोधपुर के पास स्थित है और यहाँ पर स्ट्रीट फूड बहुत मशहूर है। जोधपुर अपने लिप स्मैकिंग स्ट्रीट और क्लासिक डाइनिंग रेस्टोरंट के लिए जाना जाता है। जोधपुर के खाने की पारंपरिक शैली राजस्थान की तरह ही है, लेकिन यहां की यात्रा करने के के साथ कई स्वादिष्ट भोजन स्वाद ले सकते हैं। यहां कई तरह के व्यंजन जैसे मिर्च के साथ करी, राब, दाल-बाटी चूरमा, आटे का हलवा, लप्सी, बादाम हलवा, बाजरे का सोगरा, काबुली, चंदलिया सब्जी और काचरा मिर्चा सब्जी बहुत मशहूर है, जिनका स्वाद लेना आपको कभी नहीं भूलना चाहिए।
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अगर आप यह जानना चाहते हैं कि हम पाली कैसे पहुंच सकते हैं तो हम आपको बता दें कि आप सड़क, हवाई और रेल मार्ग किसी से भी यात्रा करके पाली आसानी से पहुंच सकते हैं जिसकी पूरी जानकारी हमने नीचे विस्तार में दी है।
पाली भारत के प्रमुख शहरों से ट्रेन द्वारा अच्छी तरह जुड़ा हुआ है। पाली मारवाड़ रेलवे स्टेशन यहां शहर के केंद्र में स्थित है। रेलवे स्टेशन पर उतरने के बाद आप टैक्सी या कैब की मदद से शहर की यात्रा आसानी से कर सकते हैं।
पाली बस स्टेशन शहर के केंद्र से लगभग 3.7 किलोमीटर की दूरी पर स्थित है। पाली जोधपुर से सिर्फ 70 किलोमीटर दूर है। पाली तक आप NH 62 मार्ग से जोधपुर शहर से बस या कैब की मदद से आसानी से पहुंच सकते हैं
पाली का निकटतम हवाई अड्डा जोधपुर में लगभग 72 किलोमीटर दूर स्थित है। हवाई अड्डे से आप बस या टैक्सी की मदद से पाली पहुंच सकते हैं।
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इस आर्टिकल में आपने पाली के प्रमुख पर्यटक स्थल को जाना है आपको हमारा यह आर्टिकल केसा लगा हमे कमेंट्स में जरूर बतायें।
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