Kotagiri in Hindi : कोटागिरी तमिलनाडु राज्य के जिले नीलगिरी में स्थित, एक खूबसूरत हिल स्टेशन है, जहां देश के विभिन्न हिस्सों से पर्यटक आते हैं। 5882 फीट की ऊंचाई पर स्थित यह नीलगिरी का तीसरा सबसे बड़ा हिल स्टेशन है। कभी कॉफी के बागान के रूप में इस्तेमाल किया जाने वाला यह शहर आज एक चाय बागान है जो 30,000 एकड़ के विशाल क्षेत्र को कवर करता है। चाय के बागानों, हरी भरी हरियाली और पहाड़ियों के विशाल विस्तार में डूबा यह खूबसूरत हिल स्टेशन फैमली के साथ वेकेशन और फ्रेंड्स के साथ वीकेंड पर जाने के लिए भी पर्यटकों के बीच काफी पॉपुलर बना हुआ है।
कोटागिरी हिल स्टेशन उन पर्यटकों के लिए एक दम परफेक्ट जगह हैं जो एक दिन की ट्रिप पर कही घूमने जाने का प्लान बना रहे हैं। इन सबके अलावा कोटागिरी साहसिक प्रेमियों के लिए ट्रेकिंग ,कैम्पिंग क्लाइम्बिंग और लंबी पैदल यात्रा जैसे विभिन्न एडवेंचर स्पोर्ट्स एन्जॉय करने के भरपूर अवसर प्रदान भी करता है।
यदि आप कोटागिरी हिल स्टेशन घूमने जाने को प्लान कर रहे है या फिर इस खूबसूरत जगह के बारे में और अधिक इन्फोर्मेशन लेना चाहते है तो हमारे इस लेख को पूरा जरूर पढ़े –
यदि हम कोटागिरी के इतिहास पर डालें तो ब्रिटिश युग से पहले कोटागिरी का कोई लिखित इतिहास नहीं है। कोटागिरी नाम ही “कोटस के पहाड़” के रूप में अनुवाद करता है जिसे कोटा’ जनजातियों द्वारा बसाया गया था। माना जाता है इस हिल स्टेशन की खोज 1819 में, मद्रास सरकार के दो सिविल सेवकों जे.सी. व्हिश और एन.डब्ल्यू ने की थी जो एक डाकू की तलाश में यहाँ आयें थे। उन्होंने यूरोप के समान जलवायु वाले इस क्षेत्र के बारे में अपने वरिष्ठों अधिकारीयों को बताया जिसके बाद यह यह क्षेत्र अधिकांश अन्य ब्रिटिश अधिकारियों के लिए ग्रीष्मकालीन रिसॉर्ट बन गया।
यदि आप अपने फ्रेंड्स या फैमली के साथ कोटागिरी हिल स्टेशन की ट्रिप को प्लान कर रहे है और जानना चाहते है की कोटागिरी हिल स्टेशन किस चीज के लिए फेमस हैं ? तो हम आपको बता दे कोटागिरी सबसे अधिक अपने सुखद मौसम और शांत वातावरण के लिए फेमस है। इनके अलावा इसके मंत्रमुग्ध कर देने वाले नजारें, चाय के बागान, धुधं भरे बादल और ठंडी ठंडी हवाएँ इसके आकर्षण में चार चाँद लगाने का कार्य करते है।
कोटागिरी की यात्रा किसे करना चाहिए ? यह भी एक ऐसा सवाल जो कोटागिरी जाने वाले लगभग सभी पर्यटकों के मन में होता है। यदि आपके मन में भी यही सवाल है तो हम आपको बताये देते है नीलगिरी पहाड़ियों की गोद में बसा कोटागिरी हिल स्टेशन तमिलनाडु में घूमने के लिए एक ऐसी जगह जिसकी यात्रा आप फैमली के साथ वेकेशन, फ्रेंड्स के साथ वीकेंड और अपने लाइफ पार्टनर हनीमून पर जाने के लिए कर सकते है। इनके अलावा यदि आप एडवेंचर एक्टिविटीज के शौक़ीन है तो इसके लिए भी कोटागिरी की यात्रा कर सकते है क्योंकि यह ट्रेकिंग, कैम्पिंग, जैसी कई एडवेंचर एक्टिविटीज की पेशकश करता है।
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कोटागिरी से लगभग 7 किमी की दूरी पर मेट्टुपालयम के मुख्य मार्ग पर उइलाथी गांव के पास स्थित एल्क फॉल्स कोटागिरी में घूमने की सबसे अच्छी जगहें (Places to visit in Kotagiri in Hindi) में से एक है। एल्क फॉल्स का नजारा इतना अद्भुद और मंत्रमुग्ध करने वाला होता है जिसे देखकर आप पहली ही नजर में इसमें खो जाने पर मजबूर हो जायेंगे। मानसून के मौसम में एल्क फॉल्स का नजारा और अधिक आकर्षक और मनमोहक होता है जब आप झरने के आसपास विभिन्न प्रकार के रंग विरंगे फूलों को देखेगें। यदि आप अपने कपल या गर्लफ्रेंड के साथ घूमने आ रहे है तो यह जगह आपको बेहद आकर्षित करेगी क्योंकि यह एक ऐसी जगह हैं जहाँ आप अपने प्रिय के साथ रोमांटिक टाइम स्पेंड कर सकते है। इनके अलावा आप यहाँ अपनी फैमली के साथ भी एकांत में क्वालिटी टाइम बिता सकते है।
कोटागिरी के केंद्र से लगभग 3 किलोमीटर की दूरी पर स्थित लॉन्गवुड शोला सभी ट्रेकिंग उत्साही लोगों और वन्यजीव प्रेमियों के लिए कोटागिरी में घूमने के लिए सबसे अच्छी जगहों (Places to visit in Kotagiri in Hindi) में से एक है। यह आकर्षण एक वन अभ्यारण्य है जो समृद्ध वन्यजीव और पक्षियों की विभिन्न लुप्तप्राय प्रजातियों का घर है जिन्हें आप लॉन्गवुड शोला की यात्रा में देख सकेगें। यदि आप अपने फ्रेंड्स के साथ यहाँ घूमने आयें है तो लम्बी पैदल यात्रा या ट्रेकिंग के लिए भी जा सकते है और रास्ते में पड़ने वाले खूबसूरत दृश्यों और वन्यजीवों को अपने कैमरे में केप्चर कर सकते है।
रंगास्वामी पीक शहर की भीड़ भाड़ और शौर शराबे से दूर घूमने के लिए कोटागिरी के प्रसिद्ध पर्यटक स्थल में से एक है। हमारा दावा है कोटागिरी हिल स्टेशन की यात्रा में आप जब रंगास्वामी पीक आयेंगें तो हरे भरे पहाड़, चह चहाते हुए पक्षियों की आवाज और शांति प्रिय वातावरण आपको सब कुछ भूलने पर मजबूर कर देगा। कोटागिरी से 20 किमी की दूरी पर समुद्र तल से 1785 मीटर की ऊंचाई पर स्थित, यह राजसी शिखर एक धार्मिक स्थान भी है जो इरुलास जनजाति के लिए एक पवित्र स्थान के रूप में कार्य करता है। चोटी के उपर रंगासामी को समर्पित एक पवित्र मंदिर भी है जहाँ स्थानीय लोग पूजा के लिए आते है।
रंगास्वामी स्तंभ चोटी का एक और प्रमुख आकर्षण है जो 400 फिट की ऊंचाई पर स्थित है। रंगास्वामी पीक की यात्रा के दौरान आप कारागोदुमट्टम, किल कोटागिरी, कदशोलाई और शोलुरमट्टम जैसे अन्य कई पर्यटक आकर्षणों को भी देख सकेगें।
कोडनाड कोटागिरी के प्रसिद्ध पर्यटक स्थल में शामिल एक सुन्दर गाँव है जो थेंगुमराहाडा गांव, दक्कन पठार, भवानीसागर जलाशय और आसपास की सुन्दर पहाड़ियों के मनोरम दृश्यों को प्रस्तुत करता है जिस वजह से इसे कोडनाड व्यू प्वाइंट के नाम से जाना जाता है। कोडनाड ट्रेकिंग जैसी एडवेंचर एक्टिविटीज के लिए भी काफी फेमस है जिसमें आप कोटागिरी से कोडनाड तक ट्रेक करके जा सकते है।
कोडनाड में कई कॉटेज और होमस्टे फैसिलिटीज भी जहाँ आप कुछ समय या एक दिन रुककर कोडनाड की प्राकृतिक सोंद्र्यता को अनुभव कर सकते है। कोडनाड कोटागिरी के फेमस पिकनिक स्पॉट के रूप में भी कार्य करता है जहाँ आसपास के लोग अपनी फैमली और बच्चो के साथ यहाँ पिकनिक मनाने के लिए आते है। इनके अलावा यह खुबसूरत जगह कपल्स के लिए भी बेहद रोमांटिक जगह है जहाँ कपल्स अपने पार्टनर या प्रेमी के साथ खूबसुरत दृश्यों को देखते हुए इन हसीन वादियों में रोमांटिक टाइम स्पेंड कर सकते है।
निलगिरी पहाड़ियों की हरी भरी हरियाली के बीच स्थित कैथरीन फॉल्स कोटागिरी में घूमने के लिए सबसे आकर्षक जगहें में से एक है। नीलगिरी पहाड़ियों का दूसरा सबसे ऊंचा फॉल होने के कारण, कैथरीन फॉल्स हर साल बहुत सारे प्रकृति प्रेमियों को आकर्षित करता है। यह एक डबल-कैस्केड जलप्रपात है जो लगभग 250 फिट ऊंचाई से गिरता है। इस झरने को स्थानीय रूप से गेद्देहाड़ा हल्ला के रूप में भी जाना जाता है। कैथरीन फॉल्स वास्तव में अपनी फैमली या फ्रेंड्स के साथ प्रकृति की गोद में समय बिताने के लिए आदर्श जगह है जो आपको अपने सुरम्य वातावरण और खूबसूरत नजारों से कभी निराश नही करेगी।
जॉन सुलिवन मेमोरियल कोटागिरी में घूमने के लिए एक और प्रसिद्ध पर्यटक स्थल है। जॉन सुलिवन 1788 में जन्मे एक ब्रिटिश अधिकारी थे जिन्होंने नीलगिरी पहाड़ियों और चाय के बागानों के विकास में महत्वपूर्ण योगदान दिया था। इसी वजह से 1855 ई. में जॉन सुलिवन की मृत्यु के बाद उनकी प्रेममयी स्मृति में जॉन सुलिवन मेमोरियल की स्थापना की गई। यह स्थान नीलगिरी संग्रहालय के साथ-साथ नीलगिरी दस्तावेज़ीकरण केंद्र (एनडीसी) के रूप में भी कार्य करता है।
इस मेमोरियल की यात्रा में आप ऊटी और नीलगिरी पहाड़ियों को विकसित करने में उनके द्वारा किए गए सभी कार्यो और जनजातियों की संस्कृति में अंग्रेजों की भूमिका को दर्शाने वाले दस्तावेजों को देख सकेगें।
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कोटागिरी हिल स्टेशन एक ऐसी जगह हैं जहाँ करने के लिए कई ऐसी एक्टिविटीज है जिन्हें एन्जॉय करते हुए आपका पूरा दिन ऐसे निकल जायेंगा की आपको पता ही नही चलेगा। जब भी आप अपने फ्रेंड्स के साथ यहाँ आयेंगे तो ट्रेकिंग, कैम्पिंग, वर्ड वाचिंग, फोटोग्राफी जैसी कई एक्टिविटीज को एन्जॉय कर सकते है। तमिलनाडु के फेमस हिल स्टेशन में एक होने के नाते यह ट्रेकिंग के लिए कई खूबसूरत ट्रेकिंग ट्रेल्स, कैम्पिंग के लिए कई सुरम्य जगह और फोटोग्राफी के लिए कई मंत्रमुग्ध नजारों की पेशकश करता है।
5882 फीट की ऊंचाई पर स्थित होने के कारण कोटागिरी हिल स्टेशन (Kotagiri Hill Station in Hindi) का मौसम साल भर सुखद और आरामदायक होता है इसीलिए पर्यटक साल भर यहाँ घूमने आते है। लेकिन दिसंबर से मार्च के बीच के समय ऐसा समय होता है जो कोटागिरी घूमने के लिए सबसे अच्छा माना जाता है। इस दौरान कोटागिरी का तापमान 9 डिग्री सेल्सियस से 19 डिग्री सेल्सियस के बीच रहता है।
यदि आप अपनी फैमली फ्रेंड्स या अपने कपल के साथ कोटागिरी के बेस्ट टूरिस्ट प्लेसेस की ट्रिप को प्लान कर रहे हैं और अपनी ट्रिप में रुकने के लिए होटल्स के बारे में जानना चाहते हैं तो हम आपको बता दे कोटागिरी के आसपास और कोटागिरी में सभी बजट की होटल्स, लोंज और होमस्टे फैसिलिटी अवेलेबल है जिनको आप ट्रिप में रुकने के लिए पिक कर सकते है।
कोटागिरी हिल स्टेशन की यात्रा के लिए पर्यटक फ्लाइट, ट्रेन और सड़क मार्ग में से किसी से भी यात्रा कर सकते है। चलिये आइये तो जानते है की हम फ्लाइट, ट्रेन और सड़क मार्ग से कोटागिरी केसे जा सकते है।
जो भी पर्यटक फ्लाइट से ट्रेवल करके कोटागिरी घूमने जाने को प्लान कर रहें हम उन्हें बता दे कोटागिरी हिल स्टेशन के लिए कोई सीधी फ्लाइट कनेक्टविटी नही है। कोयंबटूर एयरपोर्ट कोटागिरी का सबसे निकटतम हवाई अड्डा है जो हिल स्टेशन से लगभग 70 किलोमीटर की दूरी पर स्थित है। एक बार जब आप फ्लाइट से ट्रेवल करके कोयंबटूर एयरपोर्ट पहुचं जायेगें तो एयरपोर्ट के बाहर से एक टेक्सी, केब या बस से यात्रा करके कोटागिरी जा सकते है जिसके लिए आपको लगभग 1 घंटा का समय लगेगा।
कोटागिरी के लिए फ्लाइट की तरह कोई सीधी फ्लाइट कनेक्टविटी भी नही है। कोटागिरी का निकटतम रेलवे स्टेशन कुन्नूर है, जो पहाड़ी शहर से लगभग 21 किमी दूर है। रेलवे स्टेशन पर उतरने के बाद आप स्टेशन से टैक्सी किराए पर ले सकते हैं या यहाँ चलने वाले नियमित बस के माध्यम से कोटागिरी हिल स्टेशन पहुच सकते हैं।
कोटागिरी एक लोकप्रिय हिल स्टेशन है जो सड़कों के एक सुव्यवस्थित नेटवर्क के माध्यम से कई प्रमुख पड़ोसी शहरों से अच्छी तरह से जुड़ा हुआ है। त्रिची, कोयंबटूर, इरोड, मेट्टुपालयम और तिरुपुर से कोटागिरी तक नियमित बस सेवाएं चलती हैं जिनसे कोई भी यात्रा करके कोटागिरी आ सकते है। बस के अलावा आप अपनी पर्सनल कार या टेक्सी बुक करके भी यहाँ आ सकते है।
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इस आर्टिकल में आपने कोटागिरी हिल स्टेशन (Kotagiri Hill Station in Hindi) घूमने की पूरी जानकारी को जाना है आपको यह आर्टिकल केसा लगा हमे कमेंट्स में बताना ना भूलें।
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