Deeg Palace In Hindi : डीग पैलेस राजस्थान का एक प्रमुख ऐतिहासिक स्थल है जो देश भर के पर्यटकों को अपनी तरफ बेहद आकर्षित करता है। जो भी लोग मुग़ल और राजस्थानी वैभव को देखना चाहते हैं उनके लिए डीग पैलेस एक बहुत अच्छी जगह है। यह एक बहुत ही शानदार संरचना है जो दिल्ली, आगरा, भरतपुर और आस-पास के शहरों के लिए प्रमुख पर्यटन स्थलों के रूप में कम करती है। डीग पैलेस खूबसूरत फव्वारे, बगीचे, भव्यता और इतिहास पर्यटकों को यहां आने के लिए मजबूर करता है।
अगर आप डीग पैलेस बारे अन्य जानकारी चाहते हैं या फिर यहां घूमने की योजना बना रहें हैं तो हमारे इस लेख को अवश्य पढ़ें, जिसमे हम आपको डीग पैलेस के बारे में पूरी जानकारी देने जा रहें हैं –
डीग पैलेस के इतिहास की बात करें तो बता दें कि बदन सिंह ने सिंहासन प्राप्त करने के बाद डीग पैलेस को अपनी राजधानी के रूप में चुना था और यहां पर 1730 ईस्वी में महल शुरू किया। इसके बाद वे भरतपुर में जाट हाउस के संस्थापक बने और उनके शासन में यह जगह और भी ज्यादा समृद्ध हुई और शहरीकरण हुआ। इसके बाद उनके बेटे सूरजमल ने बाद में महल के चारों ओर किले का निर्माण करवाया जिसें इसे बाहरी हमलों से सुरक्षा प्रदान की।
डीग पैलेस की वास्तुकला राजपूत और मुगल शैली का मिश्रण है। इस महल का प्रमुख आकर्षण हॉल, मेहराब, वातावरण, हरियाली, नहरें और किले हैं। इस किले के बगीचों का ले आउट मुगल चार बाग पर आधारित है जिसमें दो जलाशय को रूप सागर और गोपाल सागर के नाम से जाना जाता है। किले की वास्तुकला को इसके विभिन्न मंदिरों या भवनों में देखा जा सकता है। किले की प्रमुख संरचनाओं में सूरज भवन, गोपाल भवन, किशन भवन, नंद भवन, नंद भवन, और केशव भवन के नाम शामिल हैं। डीग पैलेस की जटिल वास्तुकला (Architecture) और बोल्ड डिजाइन देश भर के पर्यटकों को अपनी तरफ आकर्षित करता है।
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अगर आप एक भारतीय नागरिक हैं तो आपको डीग पैलेस में प्रवेश शुल्क के रूप में 15 रूपये प्रति व्यक्ति देने होंगे। इसके अलावा SAARC देशों जैसे बांग्लादेश, नेपाल, भूटान, श्रीलंका, पाकिस्तान, मालदीव और अफगानिस्तान और BIMSTEC देशों बांग्लादेश, नेपाल, भूटान, श्रीलंका, थाईलैंड और म्यांमार के पर्यटकों को भी भारतीय के सामान प्रवेश शुल्क देना होता है। अन्य विदेशी पर्यटकों के लिए डीग पैलेस का प्रवेश शुल्क 200 रूपये प्रति व्यक्ति है।
आप जब भी डीग महल घूमने जाये तो, डीग पैलेस परिसर के अन्दर मौजूद इन सब जगहों को जरुर घूमे।
सिंह पोल डीग पैलेस और इसके परिसर का मुख्य द्वार है। आपको बता दें कि यह एक एक अधूरा ढांचा है जिसे देख कर लगता है कि इसका निर्माण बाद की अवधि में किया गया है। सिंह पोल का नाम इस पर बने हुए मेहराब पर गढ़े गए दो शेर की वजह पड़ा है।
सूरज भवन डीग पैलेस की सबसे सुंदर इमारत है जिसका निर्माण सूरजमल द्वारा करवाया गया था। इस भवन में एक बरामदा है जिसमें पाँच मेहराबदार ओपनिंग और हर कोने पर एक कमरा बना हुआ है। सूरज महल की छत समतल है और इस पूरे भवन को बलुआ पत्थरों से बनाया गया है, जिस पर बाद में सफेद संगमरमर लगाया गया था।
किशन भवन महल परिसर के दक्षिणी किनारे पर स्थित एक सजी हुई इमारत है जिसे आगे पर भाग पैनलनुमा मुखौटा है जो पांच बड़े केंद्रीय मेहराबों द्वारा बंटा हुआ है। इस भवन की छत पर फव्वारे को भरने वाला टैंक है।
केशव भवन, डीग पैलेस के आकर्षक भवनों में से एक है। केशव भवन एक मंजिला खुला मंडप है जो रूप सागर के साथ स्थित है।
नंद भवन केंद्रीय उद्यान के उत्तर की ओर स्थित है जो कि एक बड़ा आयताकार हॉल है जो एक छत पर उठाया गया है और यह सात ओपनिंग वाले बगीचे से घिरा हुआ है। नंद भवन की छत को प्योर लकड़ी से बनाया गया है। इसके अलावा अन्य इमारतों की तरह इसमें भी एक टैंक बना हुआ है।
पुराना महल बदन सिंह द्वारा निर्मित एक विशाल आयताकार संरचना है, जिसके आन्तरिक भागों में दो अलग-अलग कोर्ट बने हुए हैं।
हरदेव भवन सूरज भवन के पीछे स्थित एक आकर्षक संरचना है जिसके सामने मुगल चारबाग शैली में बना एक बगीचा है। इस भवन के ग्राउंड फ्लोर पर एक प्रोजेक्टिंग सेंट्रल हॉल है और जिसमें डबल पिलर हैं।
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अगर आप डीग पैलेस का दौरा करने के लिए जा रहें हैं तो नीचे दिए गए इसके कुछ निकटतम पर्यटन स्थलों की सैर भी जरूर करें –
केवलादेव राष्ट्रीय उद्यान को भरतपुर पक्षी अभयारण्य के रूप में जाना जाता है जो भारत के प्रमुख राष्ट्रीय उद्यानों में से एक है। इस उद्यान में पर्यटक बड़ी संख्या में पक्षियों, पुष्पों, सापों और मछलियों की कई प्रजातियों को देख सकते हैं।
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शासकीय संग्रहालय लोहागढ़ किले में संस्कृति का एक मजबूत प्रतिबिंब है। इस संग्रहालय में देखने के लिए इतिहास और प्राचीन परंपराओं से संबंधित बहुत सारी प्राचीन कलाकृतियाँ मौजूद हैं। यहाँ पर पर्यटक कई आकर्षक पत्थर की मूर्तियों को भी देख सकते हैं। इसके अलावा यहां प्राचीन धातु की वस्तुएं सिक्के और हथियार भी रखे गए हैं।
भरतपुर पैलेस और संग्रहालय डीग पैलेस के पास घूमने की सबसे अच्छी जगहों में से एक है। इस महल के अंदर एक खास कमरा मौजूद हैं जिसमें कई पत्थर की मूर्तियां, स्थानीय कला और बर्तनों के साथ भरतपुर की संस्कृति इतिहास और परंपराओं का चित्रण करने वाली बहुत सारी वस्तुएं मौजूद हैं।
बांके बिहारी मंदिर भरतपुर का एक प्रमुख धार्मिक स्थल है और डीग पैलेस के पास घूमने की अच्छी जगहों में से एक है। यह मंदिर शहर के प्रमुख दर्शनीय स्थलों में से एक है जहाँ के शांत वातावरण में आप शांति के कुछ पल बिता सकते हैं। इस मंदिर में कई आकर्षक मूर्तियां हैं जिन्हें देखने के लिए आपको जरुर जाना चाहिए।
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लोहागढ़ किले को भारत के लौह किले के रूप में भी जाना जाता है। लोहागढ़ किला राजस्थान की सबसे मजबूत संरचनाओं में से एक है। इस किले के अंदर स्थित एक सरकारी संग्रहालय इसे और भी अधिक लोकप्रिय बनाता है। यह किला डीग पैलेस के पास के प्रमुख पर्यटन स्थल के रूप में भी काम करता है। अगर आप डीग पैलेस देखने के लिए जा रहें हैं तो इस किले की यात्रा करने आपको जरुर जाना चाहिए।
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डीग पैलेस पैलेस एक बहुत ही शानदार संरचना है जहाँ की यात्रा करने के लिए आपको एक बार अवश्य जाना चाहिए। अगर आप डीग पैलेस घूमने की योजना बना रहें हैं तो बता दें कि आपको इस महल को देखने के लिए अक्टूबर से मार्च के महीनों में ही जाना चाहिए। अप्रैल से जून तक राजस्थान में गर्मी का मौसम होता है जिसकी वजह से यहां का तापमान 50 डिग्री से अधिक हो जाता है। इसके अलावा आप डीग पैलेस की यात्रा सितंबर में आयोजित होने वाले तीन दिवसीय मेले के दौरान भी कर सकते हैं। यह समय इस आकर्षक संरचना के लिए जाने का सबसे उचित समय है।
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डीग पैलेस निकटवर्ती शहरों दिल्ली, आगरा और जयपुर से रेल और सड़क दोनों द्वारा अच्छी तरह से जुड़ा हुआ है। कोई भी पर्यटक इन शहरों से आप 3-4 घंटे में डीग पैलेस पहुंच सकता है। पर्यटक रेल, सड़क और वायु मार्ग से डीग पैलेस की यात्रा बड़ी आसानी से कर सकते है जिसकी जानकारी हमने नीचे विस्तार से दी है।
डीग पैलेस के लिए सीधी उड़ान कनेक्टिविटी नहीं है। इसका निकटतम हवाई अड्डा आगरा में स्थित है जो करीब 95 किलोमीटर की दूरी पर स्थित है। डीग पैलेस जाने के लिए विकल्प के रूप में निकटतम हवाई अड्डा दिल्ली हवाई अड्डा है जो 180 किमी दूर है। जयपुर हवाई अड्डा राजस्थान में स्थित एक प्रमुख हवाई अड्डा है जो डीग पैलेस से 219 किलोमीटर की दूरी पर स्थित है। इन सभी हवाई अड्डे से आप अपनी मंजिल तक पहुंचने के लिए टैक्सी किराये पर ले सकते हैं।
अगर आप ट्रेन द्वारा डीग पैलेस के लिए जाना चाहते हैं तो बता दें कि दिल्ली, आगरा और भरतपुर जैसे शहरों से आप यहां के लिए ट्रेन ले सकते हैं। डीग रेलवे स्टेशन मथुरा-अलवर रेलवे लाइन पर स्थित है।
अगर आप डीग पैलेस की यात्रा सड़क मार्ग द्वारा करना चाहते हैं तो बात दे कि आप दिल्ली, आगरा, भरतपुर, जयपुर और लखनऊ जैसे शहरों से यहां सड़क मार्ग द्वारा आसानी से पहुंच सकते हैं। सड़क मार्ग द्वारा डीग पैलेस की यात्रा करना एक अच्छा विकल्प है क्योंकि इस यात्रा में आप रास्ते में पड़ने वाले कई आकर्षक दृश्यों का आनंद ले सकते हैं।
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इस लेख में आपने डीग पैलेस के बारे में जाना है आपको हमारा ये लेख केसा लगा हमे कमेंट्स में जरूर बतायें।
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